धर्म यात्रा की इस बार की कड़ी में हम आपको लेकर चलते हैं भगवान जगन्नाथ अर्थात कृष्ण की शरण में। अहमदाबाद में अपनी भव्यता और सुंदरता के लिए भगवान जगन्नाथ का मंदिर काफी प्रसिद्ध है। जमालपुर स्थित यह प्राचीन मंदिर अहमदाबाद की शान माना जाता है।
इस मंदिर के निर्मिती के बारे में कहा जाता है कि करीब 150 वर्ष पूर्व भगवान जगन्नाथजी ने महंत नरसिंहदासजी के सपने में जाकर आदेश दिया कि यहाँ उनके भाई बलदेव और बहन सुभद्रा के साथ उनका मंदिर स्थापित किया जाए। प्रात: महंतजी ने यह स्वप्न की बात गाँववालों के समक्ष रखी और सभी ने इसे सहर्ष स्वीकारते हुए धूमधाम के साथ भगवान जगन्नाथ की प्राण-प्रतिष्ठा की।
भगवान जगन्नाथ को विराजित करते ही क्षेत्र की रौनक में चार चाँद लग गए। यहाँ भगवान जगन्नाथ, बलभद्रजी तथा देवी सुभद्रा की आकर्षक प्रतिमाएँ आने वाले हर भक्त का मन मोह लेती हैं। तत्पश्चात 1878 से आषाढ़ी बीज के दिन निकाली जाने वाली रथयात्रा अब यहाँ की परंपरा का हिस्सा बन गई है। इस दौरान मंदिर की विशेष रूप से साज-सज्जा भी की जाती है। रथयात्रा में शामिल होने वाले भक्त स्वयं को भाग्यशाली मानते हैं।
जय रणछोड़, माखनचोर की गूँज के साथ भगवान जगन्नाथ के दर्शन के लिए यहाँ दूर-दूर से आए भक्तों का ताँता लगा रहता है। इसके मद्देनजर यहाँ सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए जाते हैं। भक्तों का मानना है कि भगवान जगन्नाथ के दर्शन मात्र से ही सारी इच्छाएँ पूर्ण हो जाती हैं।
यहाँ महामंडलेश्वर महंत नरसिंहदासजी महाराज द्वारा 'भूखे को भोजन' इस भाव से सदाव्रत शुरू किया गया है। इसके तहत आज भी यहाँ प्रतिदिन हजारों गरीब, भिखारी और जरूरतमंद लोग पेट की भूख को शांत करते हैं।
कैसे पहुँचें?
वायु मार्ग:- अहमदाबाद एयरपोर्ट देश के सभी प्रमुख एयरपोर्ट से जुड़ा हुआ है। एयरपोर्ट से निजी टैक्सी से मंदिर पहुँचा जा सकता है।
रेल मार्ग:- अहमदाबाद देश के बड़े शहरों के साथ ही कुछ छोटे शहरों से भी रेल लाइन द्वारा जुडा हुआ है। यहाँ स्थित कालूपुर स्टेशन मंदिर से 3 किमी दूरी पर स्थित है। मणिनगर और साबरमती रेलवे स्टेशन से भी मंदिर तक आसानी से पहुँचा जा सकता है।
सड़क मार्ग:- सभी राज्यों से अहमदाबाद के लिए बस सेवा उपलब्ध है। यहाँ गीता मंदिर स्थित बस डिपो पहुँचकर टैक्सी के माध्यम से मंदिर तक पहुँचा जा सकता है।
09 जनवरी 2010
अहमदाबाद का जगन्नाथ मंदिर
Posted by Udit bhargava at 1/09/2010 07:11:00 pm
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
एक टिप्पणी भेजें