08 सितंबर 2010

बछेंद्री पाल ( Bachendri pal )


छेंद्री पाल वह शाख्शीयत है जिस ने बहुत ही कम उम्र में पर्वत शिखर एवरेस्ट की ऊंचाई को छुआ। इस ऊंचाई को छूने वाली दुनिया की 5वीं  महिला और भारत की पहली महिला के रूप में भारतीयों का सिर ऊंचा किया। उत्तरकाशी  की पैदाइश बछेंद्री पाल पहाड़ों की गोद में पलींबढीं। 1954 में पैदा हुई बछेंद्री बचपन से ही थोड़ी विद्रोही स्वभाव की थीं।

बछेंद्री के लिए पर्वतारोहण का पहला मौक़ा 12 साल की उम्र में आया, जब उन्होंने अपने स्कूल की सहपाठियों के साथ 400 मीटर की चढ़ाई की। यह चढ़ाई उन्होंने किसी योजनाबद्ध तरीके से नहीं की थी। दरअसल, वे स्कूल पिकनिक पर गई हुए थीं। चढ़ाई चढ़ती गईं। लेकिन तब तक शाम हो गई। जब लौटने का खयाला आया तो पता चला की उतरना सम्भव नहीं है। जाहिर है, रातभर ठहरने के लिये उन के पास पूरा इंतजाम नहीं था। बगैर भोजन और टैंट  के उन्होंने खुले आसमान के नीचे रात गुजार दी।

बुलंद हौसला
मेधावी और प्रतिभाशाली होने के बावजूद उन्हें कोई अच्छा रोजगार नहीं मिला। जो मिला वह अस्थायी, जूनियर स्तर का था और वेतन भी बहुत कम था। इस से बछेंद्री को निराशा हुई और उन्होंने नौकरी करने के बजाय नेहरू इंस्टीट्यूट  ऑफ माउंटेनियरिंग कोर्स के लिये आवेदन कर दिया। यहाँ से बछेंद्री के जीवन को नई राह मिली। 1982  में एडवांस कैम्प के तौर पर उन्होंने गंगोत्री (6,672 मीटर) और रूदुगैरा (5,819) की चढ़ाई को पूरा किया। इस कैम्प में बछेंद्री को ब्रिगेडियर ज्ञान सिंह ने बतौर इंस्ट्रक्टर पहली नौकरी दी।

इस बीच  1984 में भारत का चौथा एवरेस्ट अभियान शुरू हुआ। दुनिया में अब तक सिर्फ 4 महिलाऐं एवरेस्ट की चढ़ाई में कामयाब हो पाई थीं।

1984 के इस अभियान में जो टीम बनी, उस में बछेंद्री समेत 7 महिलाओं और 11 पुरूषों को शामिल किया गया था। 1 बजे 29,028 फुट (8,848 मीटर) की ऊंचाई पर सागरमाथा (एवरेस्ट) पर भारत का झंडा लहराया गया। इस के साथ एवरेस्ट अपर सफलतापूर्वक कदम रखने वाले वे दुनिया की 5वीं महिला बनीं। केंद्र सरकार ने उन्हें पदमश्री  से सम्मानित किया।

फिलहाल वे जमशेदपुर स्थित टाटा  स्टील एडवेंचर फ़ौंडेशन की ओर से आयोजित एडवेंचर अभियान की प्रमुख हैं। यह कंपनी अभियान न सिर्फ जमशेदपुर में बल्की देश और दुनिया के विभिन्न हिस्सों में आयोजित करती है। रिवर क्रासिंग, रिवर राफ्टिंग, पैराग्लाइडिंग से ले कर विभिन्न किस्म के अभियानों की वे मुखिया हैं।